दुकानों व होटलों में काम करने वाले बाल श्रमिकों को चिन्हित कर स्कूलों में दाखिला दिलाया जाएगा। इस बाबत उपश्रमायुक्त डॉ. डीएस त्रिपाठी ने तीन श्रम प्रवर्तन अधिकारियों को दायित्व सौंपा है। यह निर्देश जारी किया गया है कि बच्चों को चिन्हित कर उनका दाखिला स्कूलों में कराया जाएगा। गौरतलब है कि बड़ी संख्या में ऐसे बाल श्रमिक हैं, जिन्हें स्कूल में दाखिला नहीं मिल सका है। न तो सरकारी और न ही निजी स्कूलों में ऐसे बच्चों को दाखिला मिला है। निजी स्कूलों की मनमानी के खिलाफ आंदोलन छेड़ने वाले आम आदमी पार्टी के अवध जोन के प्रवक्ता सभाजीत सिंह ने इस मामले को भी उठाया था। उन्होंने बीती 23 अप्रैल को उपश्रमायुक्त को पत्र देकर होटलों व दुकानों में काम करने वाले 6 से 14 आयु वर्ग के बच्चों को चिन्हित करने व ऐसे बच्चों का दाखिला निजी स्कूलों में कराने की मांग की थी। उन्होंने पत्र में कहा था कि शिक्षा के बाजारीकरण की वजह से ही ऐसे बच्चों को निजी स्कूलों में दाखिला नहीं मिल पा रहा है। ऐसे में यह आवश्यक है कि इन्हें चिन्हित कर अच्छे स्कूलों में प्रवेश दिलाया जाए। वहीं अब इस ओर प्रशासन का ध्यान भी गया है। उपश्रमायुक्त ने श्रम प्रवर्तन अधिकारी एसके कुरील, संतोष कुमार व मनोज कुमार को इस बाबत निर्देश जारी किए हैं। साथ ही बेसिक शिक्षा अधिकारी को भी पत्र भेजा है, जिससे होटलों व दुकानों पर काम करने वाले बच्चों को स्कूलों भेजा जा सके।सिविल लाइंस स्थित एक दुकान पर धूप में बैठकर बर्तन साफ करता बच्चा
No comments:
Write comments