परिषदीय स्कूलों में पदोन्नति प्रक्रिया अचानक स्थगित किए जाने से आक्रोशित शिक्षकों ने रविवार को जमकर हंगामा किया। भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए बीएसए कार्यालय पर धरना दिया। चेताया कि यदि सकारात्मक कदम नहीं उठाया गया तो उग्र आंदोलन किया जाएगा।प्राथमिक विद्यालय में प्रधानाध्यापक व जूनियर हाईस्कूल में शिक्षक पद पर पदोन्नति की प्रक्रिया लगभग दो माह से चल रही थी। ब्लाकों से आई रिक्ति के सापेक्ष 356 पदों पर पदोन्नति के लिए गत 23 अगस्त को विज्ञापन निकाला गया। इसमें आरक्षित व महिला शिक्षकों से विकल्प लेने के साथ ही अन्य शिक्षकों की रोस्टर के अनुसार नियुक्ति की जानी थी। शेष पद गैर जनपद से स्थानांतरित होकर आने वालों के लिए छोड़ा गया। सुबह दस बजे बड़ी संख्या में शिक्षक बीएसए कार्यालय पर एकत्र हो गए। अचानक बताया गया कि पदोन्नति प्रक्रिया स्थगित कर दी गई है। इससे संबंधित सूचना बाद में दी जाएगी। यह सुनते ही शिक्षक आक्रोशित होकर जिलाध्यक्ष अमित सिंह के नेतृत्व में नारेबाजी करते हुए धरने पर बैठ गए। तनाव को देखते हुए सीओ व कोतवाल भारी पुलिस-फोर्स के साथ पहुंच गए। फोन करके जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को बुलाया। बात नहीं बनी तो सभी जिलाधिकारी के पास गए। जहां डीएम ने सचिव से वार्ता करने हेतु इलाहाबाद भेज दिया। बीएसए के साथ 20-25 शिक्षक नेता इलाहाबाद पहुंचे तो सचिव नहीं मिले। उप सचिव स्कंद शुक्ला ने दो दिन बाद आने की बात कहते हुए आश्वासन दिया कि सार्थक पहल की जाएगी। जिलाध्यक्ष ने चेतावनी दिया कि यदि मामले को गंभीरता से लेते हुए सार्थक पहल नहीं हुई तो विद्यालयों में तालाबंद कर आंदोलन किया जाएगा।
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