गजेंद्र कुमार यादव ’ सम्भल 1आंगनबाड़ी केंद्रों पर नौनिहालों की निगरानी मां के साथ ही दादी और नानी भी कर सकेंगी। शासन से निर्देश के बाद सभी केंद्रों पर समितियों का गठन किया जा रहा है। ये समितियां बच्चों को प्री स्कूल शिक्षा के साथ ही पोषक आहार वितरण व स्वास्थ्य की निगरानी भी करेंगी। समितियों में पंजीकृत बच्चों की मां, दादी, नानी को प्राथमिकता दी जाएगी। 1बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग की ओर से ग्रामीण क्षेत्रों में बच्चों को कुपोषणमुक्त करने के लिए आंगनबाड़ी केंद्रों के जरिए कार्यक्रम शुरू किया गया है। तीन से छह साल तक के बच्चों को स्कूल पूर्व शिक्षा, जबकि अभिभावकों को सेहत संबंधी जानकारियां केंद्र पर दी जाती हैं। ग्राम स्तर पर निगरानी की व्यवस्था नहीं होने के कारण योजना पर सही से काम नहीं हो पा रहा था। स्थानीय स्तर पर समस्याओं का समाधान करने के लिए शासन ने केंद्रों पर मातृ समितियां बनाने के निर्देश दिए हैं। जिलेभर के आंगनबाड़ी केंद्रों पर समितियां गठित करने का काम शुरू कर दिया गया है। हर समिति में 7-12 महिलाएं होंगी। जिन महिलाओं के परिवार के बच्चे केंद्र पर पंजीकृत हैं उन्हें प्राथमिकता दी जाएगी। 1प्रधान और आंगनबाड़ी केंद्र कर रहे गठन : ग्रामीण क्षेत्रों में आंगनबाड़ी केंद्रों पर दी जाने वाली योजनाओं की निगरानी के लिए गठित की जा रही समिति को प्रधान व मुख्य सेविका ग्रामीणों की मौजूदगी में तैयार कर रही हैं। समिति गठन का कार्य तेजी से चल रहा है
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