देश के जिन 62 जिलों में सरकार ने नवोदय विद्यालय खोलने की मंजूरी दी है, उनमें से 27 जिलों में अगले साल से पढ़ाई शुरू हो जाएगी। शिक्षकों और दूसरे कर्मचारियों की नियुक्ति प्रक्रिया लगभग पूरी हो चुकी है। इनमें ज्यादातर नक्सल प्रभावित और अति पिछड़े जिलों में हैं। नवोदय विद्यालय समिति से जुड़े अधिकारियों की मानें तो फिलहाल इन सभी विद्यालयों को अस्थायी या किराये के भवनों में चालू किया जाएगा। लेकिन, जल्द से जल्द इन्हें स्थायी भवनों में शिफ्ट कर दिया जाएगा। ज्यादातर विद्यालयों के लिए स्थायी कैंपस का निर्माण शुरू हो चुका है। समिति के मुताबिक, इन विद्यालयों के चालू होते ही बाकी बचे विद्यालयों के लिए भी काम शुरू कर दिया जाएगा। राज्यों के साथ इसको लेकर बातचीत चल रही है। केंद्र सरकार ने पिछले साल ही नवोदय विद्यालय से वंचित देश के 62 जिलों में इन्हें खोलने की मंजूरी दी थी। हालांकि, उस समय इन विद्यालयों को शुरू करने के लिए 2024 तक की समयसीमा तय की गई थी, लेकिन सरकार ने अब इन्हें अगले दो सालों में ही खोलने की तैयारी में है। 117 राज्यों में खुलेंगे 62 विद्यालय : मानव संसाधन विकास मंत्रलय ने देश के जिन 17 राज्यों में 62 नए नवोदय विद्यालयों को खोलने को मंजूरी दी है, उनमें अकेले छत्तीसगढ़ में 11, कर्नाटक में तीन, मध्य प्रदेश में तीन, गुजरात में आठ, झारखंड में दो, पश्चिम बंगाल में दो, उत्तर प्रदेश में पांच, दिल्ली में सात, जम्मू-कश्मीर में पांच, त्रिपुरा में चार, मेघालय में चार अरुणाचल में दो और पंजाब में दो नवोदय स्कूल खुलेंगे। इसके अलावा राजस्थान, महाराष्ट्र, हरियाणा और अंडमान एवं निकोबार में एक-एक विद्यालय खोले जाएंगे
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