मोबाइल ऐप से लगेगी बच्चों और शिक्षकों की हाजिरी
नगर, ग्रामीण क्षेत्र के 10-10 प्राइमरी और जूनियर स्कूलों का हुआ चयन
ट्रायल के लिए राजधानी के 20 स्कूलों से होगी शुरुआत
तैयार किया गया है नया सॉफ्टवेयर
पायलट प्रॉजेक्ट के तौर पर इंजिनियरिंग फैकल्टी में लागू की व्यवस्था
परीक्षा नियंत्रक प्रो. एके शर्मा ने बताया कि इसके लिए विश्वविद्यालय प्रशासन ने एक नया सॉफ्टवेयर तैयार किया है। चूंकि ऑनलाइन कॉपी जांचने के लिए कंप्यूटर लैब की जरूरत है और विश्वविद्यालय की इंजिनियरिंग फैकल्टी में पहले से ही यह व्यवस्था है, इसलिए इस व्यवस्था को इंजिनियरिंग फैकल्टी से शुरू किया गया है।
इधर एलयू में...• एनबीटी सं, लखनऊ: लखनऊ विश्वविद्यालय में अब कॉपियों के मूल्यांकन में कोई भी फर्जीवाड़ा नहीं हो सकेगा। विश्वविद्यालय प्रशासन ने इस साल से डिजिटल मूल्यांकन की प्रक्रिया लागू कर दी है। इस व्यवस्था के तहत अब विद्यार्थी ऑनलाइन मूल्यांकित उत्तर पुस्तिका देख सकेंगे। हालांकि, यह व्यवस्था पायलट प्रॉजेक्ट के तौर अभी इंजिनियरिंग फैकल्टी में ही लागू की गई है। जल्द ही इसे मैनेजमेंट और साइंस समेत अन्य फैकल्टी में भी लागू किया जाएगा।
एलयू में हर साल 10 लाख से ज्यादा कॉपियों का मूल्यांकन होता है। सेमेस्टर सिस्टम पूरी तरह लागू होने से यह संख्या और भी बढ़ गई है, जबकि विश्वविद्यालय में कॉपी जांचने वाले परीक्षकों की संख्या कम है।
बीएसए डॉ. अमरकांत सिंह ने बताया कि मोबाइल ऐप से हाजिरी का ट्रायल 25 नंवबर से पांच दिसंबर तक चलेगा। नतीजे आने के बाद इसे अन्य स्कूलों में लागू करने पर विचार किया जाएगा।
25 से 5 दिसंबर तक ट्रायल
नगर क्षेत्र: प्राइमरी स्कूल आलमबाग, प्रा. स्कूल बल्दी खेड़ा, जूनियर हाईस्कूल तेलीबाग, प्रा. स्कूल गुलामहुसैन का पुरवा, प्रा. स्कूल ईस्माईलगंज, जूनियर हाईस्कूल निराला नगर, प्रा. स्कूल अमीनाबाद, प्रा. स्कूल जवाहर नगर, जूनियर हाईस्कूल लाजपतनगर, जूनियर हाईस्कूल बरावनकला।
ग्रामीण क्षेत्र: प्राइमरी स्कूल सेंधरवा मलिहाबाद, प्रा. स्कूल महतवा-काकोरी, जूनियर हाईस्कूल गोयला बीकेटी, प्रा. स्कूल गुलालपुर बीकेटी, जूनियर हाईस्कूल उत्तर धौना चिनहट, प्रा. स्कूल करोरा-1 मोहनलालगंज, प्रा. स्कूल धनुवासांड मोहनलालगंज, प्रा. स्कूल रायपुर माल, प्रा. स्कूल मिलौली गोसाईगंज, जूनियर हाईस्कूल सदरौना सरोजनी नगर।
इन स्कूलों में होगी शुरुआत
नहीं हो सकेगा खेल, कॉपियों का होगा डिजिटल मूल्यांकन
• अखिल सक्सेना, लखनऊ
प्राइमरी और जूनियर स्कूलों से गायब रहने वाले शिक्षकों और विद्यार्थियों का पहरा लगने जा रहा है। स्कूलों में जल्द ही बच्चों और शिक्षकों की हाजिरी मोबाइल ऐप से लगेगी। किस दिन कौन सा बच्चा या शिक्षक नहीं आए, इसकी सूचना तुरंत मोबाइल ऐप के माध्यम से बीएसए को ई-मेल पर भेजी जाएगी। ट्रायल बेस पर इसकी शुरुआत ग्रामीण और नगर क्षेत्र के 10-10 स्कूलों से होगी। स्कूलों की सूची तैयार कर ली गई है।
लखनऊ में बेसिक शिक्षा परिषद के 1839 प्राइमरी और जूनियर हाईस्कूल संचालित हैं। इनमें करीब दो लाख 30 हजार बच्चे पंजीकृत हैं। कई बार अधिकारियों के निरीक्षण में पाया गया है कि शिक्षक बिना बताए गायब हो जाते हैं। यही नहीं, पंजीकृत छात्र संख्या और मौजूद संख्या में भी काफी अंतर देखने को मिलता है। इसके लिए मोबाइल ऐप से हाजिरी लगवाने की प्रक्रिया शुरू
की जाएगी
अपलोड होगा बच्चों और शिक्षकों का डेटा
बीएसए डॉ. अमरकांत सिंह ने बताया कि ऐप तैयार करने की जिम्मेदारी अनुश्री टेक्नॉलजी प्राइवेट लि. कंपनी को सौंपी गई है। उन्होंने बताया कि ऐप में बच्चों का नाम, कक्षा, मोबाइल नंबर के अलावा शिक्षकों का डेटा अपलोड होगा, जिसके बाद रोजाना उपस्थिति मोबाइल ऐप के जरिए सीधे ई-मेल पर कंपनी भेजेगी।
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