मुआयने की भनक लगते ही शासन स्तर पर संबंधित जिलों के आंगनबाड़ी केंद्रों को दुरुस्त करने की कवायद होने लगी है। सूत्र बताते हैं कि सभी जिलों के कार्यक्रम अधिकारियों को साफ कर दिया गया है कि कहीं भी खामी मिलने पर सीधे तौर पर जिला कार्यक्रम अधिकारी को जिम्मेदार पाया जाएगा। ऐसे में बेहतर होगा कि यहां की व्यवस्था को ठीक किया जाए। प्रदेश-केंद्र के अधिकारी और नीति आयोग के सदस्य करेंगे मुआयना पड़ताल Rohit.Mishra1@timesgroup.com लखनऊ : कुपोषित किशोरियों, महिलाओं और बच्चों की योजनाओं की हकीकत जानने के लिए अब खुद सरकार आंगनबाड़ी केंद्रों तक जाएंगी। केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति इरानी की अगुआई में केंद्र-प्रदेश सरकार के अधिकारी और नीति आयोग की टीम आंगनबाड़ी केंद्रों का मुआयना करेगी। 18 जिलों में निरीक्षण का कार्यक्रम तय किया जा रहा है। फिलहाल हर जिले में 25-25 केंद्रों को देखने की योजना है। सूत्र बताते हैं कि नीति आयोग के सलाहकार आलोक कुमार और सदस्य बीते दिनों लखनऊ के आंगनबाड़ी केंद्रों में संचालित योजनाओं का ब्योरा ले चुके हैं। अब उसके आधार पर अन्य केंद्रों का मुआयना होगा। सूत्र बताते हैं कि आंगनबाड़ी केंद्रों पर बिजली-पानी-शौचालय की व्यवस्था, पोषाहार की क्वॉलिटी, महिलाओं-किशोरियों व बच्चों की दर्ज संख्या और अटेंडेंस आदि की पड़ताल होगी। ये जिले चुने गए : बुलंदशहर, चंदौली गौतमबुद्धनगर, गाजियाबाद, अमेठी, हापुड़, गोरखपुर, वाराणसी, सीतापुर, बाराबंकी, श्रावस्ती, बहराइच, सिद्धार्थनगर, बलरामपुर, चित्रकूट, सोनभद्र, फतेहपुर, अयोध्या। |
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