शिक्षकों को निशुल्क चिकित्सा सुविधा देने की उठाई मांग
लखनऊ। शिक्षक दल के ध्रुव कुमार त्रिपाठी और सुरेश कुमार त्रिपाठी ने विधान परिषद में असाध्य रोगों के इलाज के लिए शिक्षकों को निशुल्क चिकित्सा सुविधा देने का मुद्दा उठाया। कार्यस्थगन प्रस्ताव के जरिए ध्रुव कुमार ने कहा कि शिक्षक कल्याण कोष और अनिवार्य बीमा की जो व्यवस्था थी उसे खत्म कर दिया गया है। सरकार ने शिक्षकों को निशुल्क चिकित्सा सुविधा की कोई घोषणा बजट में भी नहीं की है।
इसके जवाब में नेता सदन डॉ. दिनेश शर्मा कहा कि कोविड काल के दौरान सभी का निशुल्क इलाज किया गया है। शिक्षकों को चिकित्सा प्रतिपूर्ति की सुविधा पहले से दी जाती रही है। शिक्षकों को चिकित्सीय सहायता की जो सुविधाएं पूर्व में दी जाती थीं, उसे सपा सरकार ने 18 जून 2015 को खत्म कर दिया था। निर्दलीय समूह के राज बहादुर सिंह चंदेल ने वित्त विहीन शिक्षकों को पारिश्रमिक देने का मामला उठाया। इस पर नेता सदन ने कहा कि न तो मुख्यमंत्री ने और न ही उन्होंने ऐसा कोई वादा किया था
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