▪️राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ उ0प्र0 के माँगपत्र को उपमुख्यमंत्री ने किया मुख्यमंत्री को अग्रसारित
▪️बेसिक शिक्षा मंत्री ने भी प्रतिनिधिमंडल को किया आश्वस्त
लखनऊ। केंद्र सरकार ने 1 जनवरी 2004 को नेशनल पेंशन सिस्टम लागू करके पुरानी पेंशन व्यवस्था को समाप्त किया जिसको स्वीकार करते हुए उत्तर प्रदेश सरकार ने भी उत्तर प्रदेश में 1 अप्रैल 2005 को नेशनल पेंशन सिस्टम लागू करते हुए पुरानी पेंशन व्यवस्था समाप्त कर दिया।
केंद्र सरकार ने अपने बीच के ऐसे शिक्षक- कर्मचारी जिनकी नियुक्ति या नियुक्ति पूर्व प्रशिक्षण हेतु चयन 1 जनवरी 2004 को केंद्र में नेशनल पेंशन सिस्टम लागू होने से पहले हो गई थी परंतु उनकी रेगुलर नियुक्ति 1 जनवरी 2004 को नेशनल पेंशन सिस्टम लागू होने बाद हुई उनको नयी या पुरानी पेंशन का विकल्प चुनने के लिए 5 मार्च 2008, 17 फरवरी 2020, 25 जून 2020 तथा 31 मार्च 2021 को केंद्रीय पेंशन मेमोरेंडम जारी करके अवसर दिया था परंतु उत्तर प्रदेश सरकार जो अपने यहां केंद्र की सभी नीतियां लागू करती है उसने केंद्र के उपरोक्त पेंशन मेमोरेंडम को आज तक जारी नहीं किया जिसकी वजह से उत्तर प्रदेश में 1 अप्रैल 2005 को लागू नेशनल पेंशन सिस्टम से पहले ही नियुक्त या नियुक्ति पूर्व प्रशिक्षण हेतु चयनित शिक्षकों-कर्मचारियों को केंद्र के समान नये या पुराने पेंशन का विकल्प चुनने का आज तक अवसर नही मिल पाया।
उत्तर प्रदेश राज्य में भी केंद्र के समान पेंशन मेमोरेंडम जारी कराने के लिए राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ उत्तर प्रदेश का प्रतिनिधिमंडल उप मुख्यमंत्री दिनेश शर्मा और बेसिक शिक्षा मंत्री सतीश चंद्र द्विवेदी से मिला और ज्ञापन सौंपा। इस मुलाकात के दौरान उप मुख्यमंत्री दिनेश शर्मा और बेसिक शिक्षा मंत्री सतीश द्विवेदी ने माना कि उत्तर प्रदेश में भी यह मेमोरेंडम जारी होना चाहिए जिसके लिए वो मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से निवेदन करेंगे। इसी कड़ी में उप मुख्यमंत्री दिनेश शर्मा ने राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के पेंशन मेमोरेंडम ज्ञापन को तुरंत मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को विचार करने के लिए अग्रसारित कर दिया।
उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा एवं बेसिक शिक्षा मंत्री सतीश द्विवेदी से राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ की तरफ से मिलने वाले प्रतिनिधिमंडल में मेन विंग की प्रदेश अध्यक्षा डॉ निर्मला यादव, कार्यकारी अध्यक्ष संजय मेधावी, डॉ दिलीप सरदेसाई, मनोज अवस्थी, डॉ जयशंकर पाण्डेय, डॉ मनोज पाण्डेय व राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ प्राथमिक संवर्ग के प्रदेश अध्यक्ष अजीत सिंह, कार्यकारी अध्यक्ष मातादीन द्विवेदी, संगठन मंत्री शिवशंकर सिंह तथा संयुक्त मंत्री शशांक कुमार पाण्डेय शामिल थे।
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