शिक्षक भर्ती : अभ्यर्थियों की सीएम से वार्ता, मांगों पर विचार का मिला आश्वासन
मुख्यमंत्री ने सुनी 69000 शिक्षक भर्ती के अभ्यर्थियों की समस्या,निस्तारण के दिए निर्देश
■ 69000 सहायक शिक्षक भर्ती नियम से ओबीसी व एससी अभ्यर्थी असहमत
■ परिषद सचिव ने सुनी पीड़ा, आज प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा से मिलेंगे
लखनऊ : परिषदीय विद्यालयों की 69000 शिक्षक भर्ती में आरक्षण की अनदेखी का आरोप लगाने वाले अभ्यर्थी सोमवार को उस समय हैरान रह गए, जब उन्हें यकायक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुला लिया। सीएम ने उनकी समस्या सुनी, मांग पत्र लिया और निस्तारण का भरोसा दिया।
शिक्षक भर्ती में गड़बड़ी का आरोप लगाने वाले अभ्यर्थी एससीईआरटी, डिप्टी सीएम, विभागीय मंत्री व भाजपा कार्यालय के सामने प्रदर्शन कर चुके हैं। सोमवार को फिर सभी एकजुट होकर उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के आवास का घेराव करने पहुंचे थे। अभ्यर्थी डिप्टी सीएम से मिलने को प्रयासरत थे, उसी समय मुख्यमंत्री जनता दर्शन कर रहे थे और उनकी निगाह युवाओं पर पड़ी। सीएम ने स्टाफ भेजकर उन्हें बुलवाया, समस्या सुनी और मांगपत्र लिया। सीएम ने कहा कि उन्हें धरना प्रदर्शन करने की जरूरत नहीं है, प्रमुख सचिव उनसे बैठकर वार्ता करके प्रकरण का निस्तारण करेंगे।
मुख्यमंत्री की पहल से गदगद अभ्यर्थी वापस लौट ही रहे थे, तभी मुख्यमंत्री कार्यालय से उनके पास फोन भी आ गया, उन्हें बताया गया कि जल्द बैठक होगी। शाम को अभ्यर्थियों से बेसिक शिक्षा परिषद सचिव प्रताप सिंह बघेल मिले और समस्या सुनी। अमरेंद्र सिंह ने बताया कि मंगलवार को प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा दीपक कुमार उनकी समस्या सुनेंगे। आरक्षण की अनदेखी का आरोप लगाने वाले ओबीसी और एससी वर्ग के अभ्यर्थी आश्वस्त हैं कि अब उनकी समस्या का निराकरण हो जाएगा।
लखनऊ। 69 हजार सहायक शिक्षक भर्ती में आरक्षण की गड़बड़ी का आरोप लगाकर आंदोलन कर रहे ओबीसी तथा एससी अभ्यर्थियों के प्रतिनिधिमंडल ने सोमवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से वार्ता की।
मुख्यमंत्री ने दो सदस्यों से मुलाकात की। अभ्यर्थियों ने राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग में जितने भी शिकायतकर्ता हैं और हाईकोर्ट में जितने भी इस मामले के याची हैं उन सभी को समायोजित करने की मांग की।
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