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Tuesday, April 18, 2023

अगले सत्र में छठी से कौशल विकास की पढ़ाई अनिवार्य, सिंगापुर के कौशल विकास मॉडल को अपनाने का विचार

अगले सत्र में छठी से कौशल विकास की पढ़ाई अनिवार्य, सिंगापुर के कौशल विकास मॉडल को अपनाने का विचार 

पाठ्यक्रम तैयार करने में सिंगापुर की मदद लेगी सरकार


नई दिल्ली। देशभर के स्कूलों में अगले सत्र में कक्षा छह से कौशल विकास की पढ़ाई अनिवार्य होगी। केंद्र सरकार स्कूली शिक्षा में कौशल विकास का पाठ्यक्रम तैयार करने में सिंगापुर के कौशल विकास मॉडल को अपनाने जा रही है। अगले हफ्ते ओडिशा के भुवनेश्वर में होने वाली जी-20 बैठक में भारत और सिंगापुर के अधिकारी कौशल विकास मॉडल और स्कूली शिक्षा में कौशल पाठ्यक्रम तैयार करने की संभावना पर समझौता करेंगे।


कौशल विकास व उद्यमिता मंत्रालय के सचिव अतुल कुमार तिवारी ने सोमवार को बताया कि नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020 के तहत कक्षा छह से कौशल विकास को पाठ्यक्रम में शामिल किया जा रहा है। वहीं, स्कूल शिक्षा सचिव संजय कुमार ने कहा कि स्कूली पाठ्यक्रम में कौशल के एकीकरण और बच्चों में आजीवन सीखने के लिए भविष्य के कौशल से संबंधित सामग्री पाठ्यक्रम में जोड़ी जाएगी। भुवनेश्वर में 25 अप्रैल को इससे संबंधित बैठक में भारत और सिंगापुर के अधिकारी इस विषय पर बात करेंगे। 


दोनों देशों के बीच यह विचार-विमर्श अंतरराष्ट्रीय सहयोग और समर्थन को केंद्रित होगा। भविष्य में एक साथ काम करने की रूपरेखा तैयार करना और विभिन्न क्षेत्रों के पेशेवरों को एक साथ लाकर नवाचार, सहयोग और समझने के लिए सीखने का माहौल को बढ़ावा देना है।


नई शिक्षा नीति में कौशल

विकास पर फोकस नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 में कक्षा छठीं से कौशल शिक्षा प्रदान करने की सिफारिश है। कक्षा 9वीं और 10वीं में कौशल विकास की शिक्षा वैकल्पिक होगी और 11वीं और 12वीं कक्षा में फिर अनिवार्य होगी।

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