अंकपत्र / प्रमाणपत्र संशोधन को जिलों में फिर जाएगा यूपी बोर्ड, पहले चरण में लगे कैंप में निपटे थे करीब 50 हजार मामले, शेष मामलों के निस्तारण को कैंप लगाने का सचिव ने दिए निर्देश
प्रयागराज : हाईस्कूल और इंटरमीडिएट के अंकपत्र / प्रमाणपत्र में छात्र-छात्राओं के नाम में त्रुटि, उनके माता-पिता के नाम में त्रुटि, स्पेलिंग में त्रुटि, जन्मतिथि में गड़बड़ी होने पर संशोधन के लिए यूपी बोर्ड अब जिलों में जा रहा है। बोर्ड के सभी पांच क्षेत्रीय कार्यालयों में लंबित ऐसे 61,219 प्रकरणों को निस्तारित कराने के लिए बोर्ड सचिव दिव्यकांत शुक्ल ने 12 जून से 30 जून तक जिलों में निर्धारित तिथि में कैंप लगवाए। इसके बावजूद निस्तारित होने से रह गए करीब 10 हजार प्रकरणों के समाधान के लिए जिलों में पुनः कैंप आयोजित करने के निर्देश सभी क्षेत्रीय अपर सचिवों को दिए हैं।
लंबित प्रकरणों में कुछ ऐसे भी थे, जो कई वर्ष से पड़े थे। इसके लिए छात्र-छात्राएं क्षेत्रीय कार्यालयों के चक्कर लगाते थे। इस स्थिति में वह कई बार आर्थिक शोषण का शिकार भी होते थे। ऐसे मामलों को जानकारी मिलने पर बोर्ड सचिव ने जिलों में संबंधित विद्यालय व छात्र को पूर्व में सूचना देकर जाकर कैंप लगाकर अधूरे दस्तावेज पूरे कराने की प्रक्रिया क्षेत्रीय कार्यालयों के माध्यम से शुरू कराई। इसमें डीआइओएस एवं बीएसए को अनिवार्य रूप में उपस्थित होने को कहा गया, ताकि टोसो पर काउंटर साइन की प्रक्रिया भी कैंप में पूरी कराई जा सके। कैंप में क्षेत्रीय कार्यालयों से उप सचिव, सहायक सचिव व अन्य अधिकारी भी पहुंचे। यहां अभिलेख जुटाने के बाद बोर्ड छात्र-छात्राओं के संशोधित अंकपत्र/ प्रमाणपत्र विद्यालयों के माध्यम से भेजने का कार्य कर या है। बोर्ड सचिव ने बताया कि निस्तारित होने से शेष रह गए मामलों में जरूरी दस्तावेज जुटाने के लिए जिलों में पुनः कैंप आयोजित किया जा रहा है. ताकि पुराने प्रकरण लंबित न रहें। कुछ क्षेत्रीय कार्यालय ने कैंप का आयोजन शुरू कर दिया है। प्रयागराज क्षेत्रीय कार्यालय को अपर सचिव विभा मिश्रा ने बताया कि पुराने कैंप में आए प्रकरणों के संशोधित अंकपत्र भेजने को प्रक्रिया पूरी की जा रही है। इसका बैकलाग खत्म होने को है। इसी के साथ जल्द कैंप आयोजित कराकर लंबित अन्य प्रकरणों का भी निस्तारण कराया जाएगा।
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