CISCE ने किया 11वीं और 12वीं के पाठयक्रम में बदलाव, नए शैक्षणिक सत्र से होगा लागू
● 2024-25 की बोर्ड परीक्षा बदले पाठ्यक्रम के साथ होगी
● जिन विषयों में संशोधन हुआ उनकी सूची वेबसाइट पर जारी
लखनऊ ।राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी ) 2020 का असर पर पाठ्यक्रमों पर दिखने लगा है। अब कक्षा एक से 12 तक के पाठ्यक्रमों में एनईपी के तहत बदलाव किए जा रहे हैं।
सीआईएससीई ने 11 वीं के शैक्षणिक वर्ष 2024-25 और 12 वीं की वर्ष 2025 की परीक्षा के लिए पाठ्यक्रम के अन्तर्गत प्रमुख विषयों में संशोधन कर दिया है। शुक्रवार को काउंसिल की तरफ से सभी स्कूलों को गाइडलाइन भेजी गई। साथ ही संशोधित पाठ्यक्रम को काउंसिल की वेबसाइट पर अपलोड भी कर दिया गया है। 11 और 12 वीं के छात्र अब नए सत्र में संशोधित पाठ्यक्रम के अनुसार ही पढ़ाई करेंगे।
सीआईएससीई के अन्तर्गत सबसे ज्यादा संशोधन आईएससी (12 वीं) में किए गए हैं। वर्ष 2025 परीक्षा के लिए 12 के भौतिक विज्ञान, रसायन शास्त्रत्त्, जीव विज्ञान, अंक शास्त्रत्त्, व्यापार, हिसाब किताब, इतिहास, भूगोल, राजनीति विज्ञान, समाज शास्त्रत्त्, मनोविज्ञान और विधिक अध्ययन विषय में संशोधन किया गया है। इन 12 विषयों के अलावा अन्य विषय पूर्व की तरह ही रहेंगे।
काउंसिल ने कक्षा 12 में जहां 12 विषयों में संशोधन किया है। वहीं कक्षा 11 में शैक्षणिक वर्ष 2024-25 के लिए चार प्रमुख विषयों में बदलाव किए गए हैं।
जिसमें रसायन विज्ञान, बायोलॉजी, गणित और इतिहास विषय का नाम शामिल है। शेष विषयों के पाठ्यक्रम में कोई बदलाव नहीं किया गया है। 11 वीं का संशोधित कोर्स भी वेबसाइट पर अपलोड कर दिया गया है।
छात्र और छात्राएं विषयों में ढूंढ़ने लगे संशोधन
आईएससी 12 वीं के प्रमुख विषयों में बदलाव की सूचना आते ही छात्र-छात्राओं में उत्सुकता बढ़ गई। अचानक हुए बदलाव को जानने के लिए छात्रों ने वेबसाइट देखने के साथ कॉलेज के शिक्षकों से भी सम्पर्क किया। अनएडेड स्कूल एसोसिएशन के अध्यक्ष अनिल अग्रवाल ने कहा कि काउंसिल की गाइडलाइन और विषयों में हुए बदलाव से छात्रों के साथ ही अभिभावकों को भी शनिवार को ही परिचत कराया जाएगा। जिससे किसी को किसी तरह का भ्रम न होने पाए।
सीआईएससीई बदलते समय के साथ पाठ्यक्रम में संशोधन करती है। संशोधन से कोर्स अपग्रेड हो जाता है और कई नई जानकारियां जुड़ती जाती हैं। जो भी बदलाव है वो एनईपी 2020 की वजह से किए जा रहे हैं। जो छात्र हित में हैं। –अनिल अग्रवाल, अध्यक्ष, अनएडेड प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन
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